प्रेम कहानी : कुछ पन्ने इश्क़ - इरा टाक |


प्रेम कहानी : कुछ पन्ने इश्क़ - इरा टाक #शब्दांकन

 कुछ पन्ने इश्क़ . . . 

 - इरा टाक


18 -मार्च  
9pm

कल  दोपहर में उससे कॉफ़ी हाउस  मिलने गयी थी । पहली मुलाकात थी ! पिछले कई दिनों से विक्रम से फेसबुक पर और फ़ोन पर बातें कर रही हूँ , देर तक किताब पर डिस्कस किया । बिल मैंने ही दिया , उसने एक बार ऑफर भी नहीं किया... बड़ा कंजूस मालूम होता है !
खैर छोड़ो । मेरा मतलब है अभी !
पंद्रह मिनट की मुलाकात थी, अब  मुलाकात को बार बार रिवाइंड और प्ले कर रही हूँ ... !

हुह ...कोई ख़ास तो नहीं था, दिखने में! कपडे  भी साधारण ही पहने था । मिलते ही अपना ज्ञान उड़ेलने लगा था।


मैंने शाम स्टेटस अपडेट भी किया था ..
"मुख़्तसर सी मुलाकात थी मुझ पर असर कर गयी
बातें उसकी ख़ुश्क थी पर दिल को पुरनम कर गयी ! "
देखा तो होगा उसने.. ! उफ़ कितनी सफाई से राहुल को झूठ बोल दिया ...


"हाँ डिअर ... तुम्हारे लिए लिखा..हमारी पहली मुलाकात के नाम ! "


आजकल मन नहीं करता ,  राहुल से बात करने का। कभी कभी झुंझला जाती हूँ।

आज सुना दिया मैंने जम के ...
'अरे यार काम करने दिया करो । तुम तो नौकरी में हो।महीने के महीने सैलरी आती है। मैं फ्रीलांसर हूँ। काम खोजना  होता है'
इसी बात पर आज खूब झगड़ा किया । अच्छा है अब कुछ घंटे आराम रहेगा ... वरना वो रात रात भर बात करना चाहता है।

24 -मार्च
10pm

थोड़ी देर पहले उसका फ़ोन आया... केवल एक घंटी ...मिस कॉल ...। कंजूस आदमी !

मैंने कुछ  देर बाद मिलाया ....'आपने कॉल किया था ? सॉरी ! साइलेंट  मोड पर था मैं देख नहीं पाई।
'हाँ जी मैंने सोचा कि पूछ लूँ आपकी किताब कब आ रही है । कोई हेल्प चाहिए तो बता दें।'
ओह्हो झूठा आदमी ...मेरे झूठ से उसके झूठ को सहारा मिला ...मिस कॉल करता है... और प्रस्ताव मदद करने का देता है !
एक बार और मिलने का प्लान बन गया है।

25 -मार्च
4pm

मन किया उसके लिए कुछ ले चलूँ । यही खराबी  है मुझमें ... बड़ी उतावली रहती है, गिफ्ट देने की ...वैसे सबको नहीं केवल उनको जो मन को भा जाए । उसके लिए एक पार्कर का  महंगा पेन ले लिया था , 545 /- वाला , बजट गड़बड़ा गया ..वैसे ही इस बार ज़्यादा खर्च हो गया ।
बड़ा लालची है , एक बार भी नहीं कहा , इसकी क्या ज़रूरत थी।
बिल इस बार उसने दिया।
बात तो कुछ ख़ास नहीं हुई। मेरे बारे में जानने को उत्सुक दिखा। मैंने बता दिया है , मैं इंगेजेड  हूँ.. नवंबर में  शादी होने वाली है..राहुल से । वो सिंगल है।ऐसा उसने बोला। पता नहीं क्यों उसकी तरफ खिंचती जा रही हूँ , वो बहुत उदास सा दिखता है , इस बार राहुल को बता कर नहीं गयी , वैसे मैं उससे कुछ छिपाती नहीं, पता नहीं अब क्यों छुपा रही हूँ .. ?

26-मार्च
6pm

आज अल्बर्ट हॉल पर  ऑय  डोनेशन कैंपेन चला । एनजीओ आंटी का है , तो मुझे मजबूरी में जाना पड़ा। उसकी याद  आने लगी। उसका ऑफिस पास ही है। मन हुआ मिलने का तो मैने हिम्मत कर कॉल किया...
"मैं यहाँ नेत्र दान का संकल्प करवा रही हूँ। आप आओगे अल्बर्ट हॉल ?"
"बिजी हूँ...पॉसिबल नहीं होगा " कह कर उसने फ़ोन काट दिया ।

मेरा मुँह उतर गया था ...माँ अक्सर कहती है “ तेरा मुंह खूंटी पर टंगा रहता है ...कोई भी उतार सकता है ...हाहा “
खैर .... वो कौन सा कलेक्टर है जो इतना बिजी है ? 10 मिनट को तो आ ही सकता था.. !

अनमने मन से "नेत्र दान महादान” वाली कैप लगाये शाम तक लोगो से फॉर्म भरवाती रही। एक सेल्फी भी फेसबुक पर डाला।
उसका लाइक आया। इतना बिजी है तो फेसबुक पर क्यों मड़रा रहा था ?
फिर हिम्मत करके उसे एस एम एस भी किया...
“चाय पिए ? “
आधे घंटे वेट किया, कोई जवाब नहीं आया।
बहुत मूड ऑफ हुआ, खुद पर बड़ी खीज और शर्म आई।
क्या ज़रूरत थी मुझे मैसेज भेजने की... ?
कमीना ! साला !

कम से कम रिप्लाई तो कर सकता था । उसे लग रहा होगा मैं उसको भाव दे रही हूँ। उस पर फ़िदा हूँ..मरे जा रही हूँ उसके लिए ..
जब बेइज़्ज़ती  फील होती है तो कान गरम हो जाते हैं , खुद के सामने शर्मिंदा होना बड़ा खतरनाक वाला दर्द देता है ..माँ कसम !

अभी तक मूड  ऑफ़ है... ऑफ क्या फ्यूज ही उड़ गया है ... !

ज़रूरत क्या थी,  मुझे मैसेज करने की... कल ही तो उससे मिली थी

11 :30pm

राहुल  स्काइप पर मेरे मुँह उतरे होने का कारण पूछ रहा था , मैंने  थके होने का बहाना बना दिया ।
फ़ोन वाइब्रेट  हो रहा था । स्क्रीन पर उसका नाम था ।मैंने राहुल से कहा  खाना खाने जाना है। बाद में बात करेंगे।लैपटॉप का फ्लैप गिरा तुरंत उसे फ़ोन मिलाया ।
वो बैचैन सा था...
'सॉरी आपके मैसेज को देर से देखा। काम में फंसा था...मेरा भी बहुत मन था मिलने का, पर ऑफिस में ऑडिट आया हुआ था , तो हिलना मुश्किल था।“
मन को सुकून मिला । शर्मिंदगी कम हो गयी है।
राहुल फिर फ़ोन कर रहा था ।लगातार पांच बार कॉल किया ..पता नहीं ये इतना परेशान क्यों करता है..मैंने जान बूझ  कर नहीं उठाया..अब कल सुबह लड़ेगा !
फेसबुक पर विक्रम का प्रोफाइल छान रही हूँ।
उसका अभी अभी मेरे किसी पुराने फ़ोटो पर लाइक आया ।

मतलब वो भी लगा हुआ है छानबीन में ! :)

28-मार्च
7am

आज बिजली का  बिल जमा करने की लास्ट डेट है , पैसे ख़त्म हो चुके हैं,  कुल डेढ़ हज़ार बचे होंगे ! ऐसा भी नहीं कि एक तारीख़ को तनख्वाह आ जाए , कब से एक पेमेंट पेंडिंग है, कितनी बार बोल चुकी हूँ ! सुबह से सारे पर्स टटोल चुकी ..कभी कभार पुराने रखे पैसे मिल जाते हैं तो लगता है,  लॉटरी लग गयी !

पर आज कुछ नहीं मिला !बहुत तनाव में हूँ , घर से भी पैसे मांगने में संकोच होता है , अभी तो मम्मी ने भेजे थे दस हज़ार... क्या करूँ ? राहुल से  भी मांगने में शर्म आती है, वो खुद तो कभी नहीं पूछता कि तुम्हे कुछ ज़रूरत तो नहीं !

तीन तारीख़ को रूम का रेंट भी देना होगा , डिप्रेशन सा हो रहा है..बिना पैसे इंसान की क्या औकात !
किसी से उधार मांग लूँ क्या ? क्या  बहाना करूँ ?

बार बार रहीम अंकल का  दोहा याद आता है...

"रहिमन वे नर मर गये, जे कछु माँगन जाहि।

उनते पहिले वे मुये, जिन मुख निकसत नाहि॥"

लेकिन पहले तो वो मरेंगे न ...जो उधार न दें ..

अब तो माँगना ही होगा रहीम अंकल ...प्लीज डोंट माइंड... हाहाहा  !

29-मार्च
10:30am

कल शाम वो क्रॉसवर्ड में मिल गया...किसी लड़की के साथ था । पता नहीं क्यों ..मुझे बहुत गुस्सा आया ! मुझसे बस फॉर्मेलिटी में हेलो  किया । लड़की ने एक दो बार उसका हाथ भी थामा , ज़्यादा देर मैं वहाँ रुक नहीं सकी । मन बड़ा अनमना सा हो गया है । कल कविता से पंद्रह हज़ार उधार लिए।  उसके पापा ने कोई बड़ा असाइनमेंट दिलवाने का भी बोला है , शायद सब अच्छा हो जाए !

30-मार्च
11:30pm

उसने फेसबुक पर मैसेज किया , पर मैंने जवाब नहीं दिया ।  मुझे लगता है.. मैं भटक रही हूँ , शादी तय हो चुकी है, राहुल मुझे बहुत चाहता है ,और मैं भी राहुल को प्यार करती हूँ... फिर न जाने क्यों मैं उसके इंतज़ार में रहती हूँ और जब से उसे लड़की के साथ क्रॉसवर्ड में देखा मेरा दिमाग बहुत ज्यादा खराब है ।

किताब प्रेस में चली गयी है, सोचती हूँ इस बार नेट के एग्जाम दे ही दूँ !

इंटीरियर में बहुत कम्पटीशन है अभी तक कोई ढंग का काम नहीं मिला और ये साले बिज़नस मैन काम मांगने जाओ तो लाइन मारने लगते हैं ! सही कहती हैं मम्मी.. लड़कियों के लिए टीचिंग लाइन बेस्ट है ।

अभी फिलहाल कोई ज़्यादा काम नहीं , साथ में तैयारी कर लूंगी ...परसों भाई भाभी आ रहें हैं..भाभी की बहन भी साथ आएगी , उसकी  शादी है ,शॉपिंग  करानी होगी ।

उसकी याद आ रही है, बात करने का मन कर रहा है , पर नहीं यार ... मन को कंट्रोल करना होगा...अभी मोबाइल से उसका नंबर डिलीट कर दूंगी !

5-अप्रैल  
8pm

आज बहुत अच्छा दिन है , किताब की पहली प्रति हाथ में आई है, पेंडिंग पड़ा पैसा भी आ गया । भैया भी जाते समय पांच हज़ार दे गए  और भाभी ने हैवी एम्ब्रॉयडरी वाला सूट दिलवाया था ।

कविता का उधार चुका दिया ..अब अगली बार भी मांग सकती हूँ .. !

अप्रैल का महीना खुशियां ले कर आया है ...कोचिंग  ज्वाइन कर ली है ।  राहुल से देर तक बात हुई ..पता नहीं उसे क्यों लगता है मैं बदल गयी हूँ... ज़्यादा बोलती नहीं... ! मुझे खुद समझ नहीं आता पर शायद पढाई के कारण ... पूरे दिन बहुत हेक्टिक हो जाता है । कैरियर सेट करना है उसका बहुत टेंशन रहता है। होम मेकर का टाइटल लेकर मैं खुश नहीं रह सकती !

कल इंटीरियर की दो किताबें भी फ्लिपकार्ट से आई, राहुल ने भिजवाई , बहुत ध्यान रखता है मेरा ! बहुत प्यारा लड़का है मेरा शोना ...!

9-अप्रैल
1:30pm

परसों कोचिंग से लौटते समय मेरा एक्सीडेंट हो गया , और न जाने क्यों मुझे सबसे पहले उसका ध्यान आया , वैसे तो यहाँ मेरे कई दोस्त और रिश्तेदार हैं , मैंने हॉस्पिटल में उसी का नंबर बताया , आधे घंटे में वो हांफता हुआ मेरे सामने था ।

उसकी आँखों में तकलीफ देख मुझे लगा कि मेरा एक्सीडेंट होना सार्थक हुआ ! वरना बार बार किस बहाने से मिलूं ? वैसे भी पिछले दस दिन से उसे कोई बात नहीं की थी ।

पैर में बहुत चोट आई है  , हेयर लाइन  फ्रैक्चर है, साथ ही साथ लेफ्ट हैंड पूरा छिल गया था ..
अस्पताल में तीन चार इंजेक्शन लगे ... वो मेरे  पास बैठा रहा, मुझ से बातें करता रहा , हम एक दूसरे को देखते रहे , देर रात  डॉक्टर ने मुझे डिस्चार्ज  कर दिया ! हॉस्पिटल का बिल उसी ने दिया ! फिर वो मुझे घर तक छोड़ने आया ... बहुत मन किया कि उसे रोक लूँ ...उस  रात सो नहीं सकी ! बस उसी का चेहरा नज़र आता रहा !

आज सुबह से कविता आ गयी है , पूरा दिन मेरे साथ ही रहेगी ...अभी बाजार से कुछ लेने गयी है .. उसका मैसेज आया है वो शाम को आएगा।

राहुल को अभी तक एक्सीडेंट का नहीं बताया है । वो स्काइप पर आने की ज़िद कर रहा था ...मैंने कह दिया स्काइप का पासवर्ड भूल गयी हूँ । बोला दोबारा आई डी बना लो ।

यार क्या मुसीबत है ! वैसे गलती राहुल की  नहीं मेरी है...मैं उससे दूर भाग रहीं हूँ ! वो मेरा मंगेतर है उसका  हक़  बनता है मुझे देखने का !

10-अप्रैल
11:30pm

कल शाम वो कुछ फल लेकर आया था , कविता को उसके बारे में काफी कुछ बता चुकी थी  , हम तीनों ने साथ में ही डिनर किया । मैं चाहती थी वो जाने से पहले मुझे गले से लगा ले ,कविता तो किचेन में बर्तन साफ़ कर रही थी ...पर उसने बस हाथ ही  मिलाया !

मैंने क्रॉसवर्ड वाली लड़की के बारे में पूछा , तो वो बोला पुरानी दोस्त है,बचपन की ... गर्लफ्रेंड नहीं !

उसके हाथ का स्पर्श मेरी हथेली पर छूट गया ! न जाने कितनी बार हथेली को अपने गाल पर लगाया  !

बाद में कविता ने बोला कि उसकी आँखों से लगता है वो मुझे चाहता है  ! मैंने कविता को बोला ऐसा कुछ नहीं बस अच्छा दोस्त है मेरा !

लेकिन  मैं उसको देख कर जैसा महसूस करती हूँ वैसा मैंने कभी महसूस नहीं किया ..जबकि मेरी राहुल से लव मैरिज होने जा रही है ! कभी कभी खुद के मन में क्या है , ये समझ पाना दुनिया का सबसे मुश्किल काम होता  है !

बारह तारीख को भाभी की बहन की शादी है , अब जाना पॉसिबल नहीं , कोई बहाना बना के मना करना होगा, एक्सीडेंट  की बात सुन रंग में भंग पड़ जाएगा , वैसे भी घर में सबसे छोटी होने की वजह से सबकी लाड़ली हूँ !


15-अप्रैल
7:30pm

मम्मी आ गयी हैं , बहुत नाराज हैं कि मैंने उन्हें एक्सीडेंट की बात पहले क्यों नहीं बताई ! कविता ने  उनको फ़ोन पर बताया ! कल राहुल भी आने वाला है , मम्मी ने उसे भी बता दिया !

मम्मी शादी में बनी ढेर सारी मिठाईयां और मठरी लेकर आई  हैं , खा- खा के मेरा वजन बढ़ जायेगा ...वैसे भी पैर में चोट की वजह से मैं एक्सरसाइज नहीं कर सकती।

आजकल उससे रोज़ चैटिंग हो रही है ..रोज रात दस बजे उसका फ़ोन भी आने लगा है... अक्सर  कहता है "तुम मुझे पहले क्यों नहीं मिली !"

मैं भी तो यही कहना चाहती हूँ , पर कह नहीं पाती !

16-अप्रैल
10:25pm

राहुल सुबह ही आ गया था , मेरे लिए चॉकलेट्स लाया  , इस बार राहुल का मुझे किस करना और गले लगाना बिलकुल अच्छा नहीं लगा ... जैसे  मुझको  गन्दा कर रहा हो  ! दम घुट रहा था  ..वो बार बार मुझे छूने का मौका ढूंढ़ता रहा  और न जाने क्यों मुझे उसका टच अजनबी सा लग रहा था ... पूरे दिन मेरी कोशिश रही कि मम्मी  आस पास रहें और मम्मी हमे अकेले रहने का वक़्त देने की कोशिश में थीं !

शाम को जब मम्मी पड़ोस में सक्सेना आंटी से बात कर रहीं थी, तब राहुल स्मूच करना चाहता था ... मैंने रोक दिया .... राहुल ने सीधे पूछा ..प्रॉब्लम क्या है तुम्हे ..कोई और है क्या तुम्हारे मन में ? कई दिनों से देख रहा हूँ कि तुम बिलकुल बदल गयी हो... पहले तुम कितनी रोमांटिक थी और अब ऐसे कर रही हो जैसे पहले हमें कभी किस किया ही नहीं !

बहुत नाराज हो कर गया वो ! पर अच्छा  है कि उसकी आज रात की ही फ्लाइट थी ... मेरे लिए उसके साथ ये 12 घंटे बिताने ही भारी पड़े ! पूरी ज़िन्दगी कैसे ...!!!

18-अप्रैल  
07:15am

बहुत ज़्यादा तनाव में हूँ, एक अपराध  बोध ... मैंने  हर तरह से अपने मन को  समझा लिया .. कई बार दोनों के बारे में लिख क़र तुलना भी क़र ली है । दिमाग राहुल का साथ सही बताता है और दिल  उसकी तरफ खिचता जा रहा है !

असाइनमेंट पेंडिंग पड़ा है.. किससे  डिस्कस करूँ ...? कविता सुनेगी तो मज़ाक उड़ाएगी ...पहले मैं  राहुल के प्यार में दीवानी थी... हर समय  राहुल-राहुल कहती थी .. और अब क्या हुआ एक दम ...कैसे गायब हो गया प्यार ! और अब विक्रम-विक्रम ..हर समय मन में.. उसी का नाम !

मैं खुद ही खुद को नहीं समझा पा रही तो और कोई क्या समझ पायेगा ?

वो एक महीने को शहर से बाहर गया है ......क्या कहूँ उससे .. ? मुझे तो ये भी नहीं पता कि उसके मन में क्या है ...? और उसकी वो गर्लफ्रेंड भी तो है जो क्रॉसवर्ड में उसके साथ थी !  वैसे तो वो कह रहा था कि दोस्त है... पर लड़कों का क्या भरोसा ? गर्ल फ्रेंड को भी कजिन या बहन बता देते हैं !

मैं क़र क्या रही हूँ ... पागल हो गयी हूँ  शायद !

20-अप्रैल  
8:15pm

लगता है वो मजे में है , दो दिन से उसका कोई मैसेज नहीं आया , मैं ही कर दूँ तो जवाब देता है । अब मैं भी नहीं करुँगी ! राहुल बहुत चिड़चिड़ा हो गया  है , रोज़ ही लड़ाई होने लगी  हैं, मैं क्या करूँ जब मेरे मन में प्यार नहीं... बिना फीलिंग कैसे  रोमांटिक बातें करूँ ? कल स्काइप पर बोल रहा था “शर्ट उतार दो ..बहुत इंसिस्ट कर रहा था तो मैंने दो बटन खोले, पर फिर मन में बहुत गन्दी वाली फीलिंग हुई और मैंने लैपटॉप का फ्लैप गिरा दिया  !

नीच आदमी ! करीब दो घंटों  तक फूट फूट कर रोई , मेरे मन से राहुल के लिए सब कुछ साफ़ हो चुका है ! मुझे नहीं रहना उसके साथ

और ऐसा भी नहीं कि मेरे मन में विक्रम लिए कोई रोमांटिक ख्याल हैं, मैं बस परेशान हूँ ...बहुत परेशान ...!

मुझे अब हर पल उसका इंतज़ार रहता है और ये बात मैं उसे कैसे कहूँ ? उसने मना कर दिया तो ? घर में पड़े पड़े बोर हो गयी हूँ ...परसों  प्लास्टर खुल जायेगा ...तब थोड़ी बाहर की हवा मिलेगी ..शायद मूड बदल जाए !

क्या करूँ.... मुझे खुद को रोकना होगा... अभी  उसे ब्लॉक कर दूंगी ... और उसका नंबर भी डिलीट कर दूंगी... पहले भी तो डिलीट किया था, पर नंबर तो याद है उसका !

ये आया ही क्यों मेरी ज़िन्दगी में ? सब तो अच्छा चल रहा था !

21-अप्रैल  
9:00am

अभी सुबह सुबह ही उसका फ़ोन आया ..पूछ रहा था कि मैंने उसे फेसबुक पर ब्लॉक क्यों किया... ? मैंने गुस्से में उसे खूब सुना दिया " तुम तो वहां  मज़े कर रहे हो..रोज़ रोज़ नई फोटो ड़ाल रहे हो..मुझे तो हेल्लो तक नहीं लिखते ,न मेरा कोई स्टेटस लाइक करते हो ...मैं कोई तुम्हारी फैन नहीं जो फॉलो करती रहूँ ! तुम मुझे याद करने को बहुत बिजी हो और मैं तुम्हे याद करने को बिलकुल  फ्री बैठी हूँ क्या  ! "
     उसने बोला कि वो डरता है मुझ से... बात करने में संकोच करता है.. ! मैं उसके लिए खास हूँ पर वो मुझे डिस्टर्ब नहीं करना चाहता !

कहना चाहती  थी कि मुझे हर समय तुम्हारा इंतज़ार रहता है पर हिम्मत ही नहीं पड़ी .... बस इतना ही कह पायी "अभी अनब्लॉक करती हूँ "

11:00pm

आज हमने पूरे दो घंटे चैटिंग की, बहुत हल्का महसूस कर रहीं हूँ । उसने मुझे बहुत से फोटो इनबॉक्स किये .. कितनी बार मन किया कि लिख दूँ.. पर कैसे ... मैं इंगेजेड हूँ ..बहुत बड़ा तमाशा  हो जायेगा ! राहुल को कैसे कहूँगी कि मेरे मन में अब तुम्हारे लिए कुछ नहीं बचा । मैं किसी और के लिए फील करती हूँ ...

पहले इससे कहूँ या राहुल से !

और अगर इसने मना कर दिया और राहुल भी नाराज हो गया तो ? तो मैं अकेले रह लूंगी क्या ? रह लूंगी...

पर इस तरह दो नावों पर सवारी कैसे करूँ... ?


"ज़िन्दगी इतनी छोटी भी नहीं कि नापसंद साथी के साथ बिता दी जाए और इतनी बड़ी भी नहीं कि मन के फैसले लेने को बरसों हिम्मत जुटाई जाये !"

मैं उसे कह दूंगी , जो होगा देखा जाएगा ,  अब और अपने मन के खिलाफ नहीं जाउंगी !

23-अप्रैल
1:40pm

कल मम्मी को कह दिया  कि मुझे राहुल से शादी नहीं करनी , मगर ये नहीं बताया किसी और से प्यार  है !
 अगर बता देती तो ताने मार मार  अधमरा कर देती , फिर भी कौन सी कसर छोड़ी उन्होंने  , पता नहीं क्या क्या सुना दिया ..उफ़ कितना गन्दा बोलती है मेरी माँ ...जब सुनाने पर आती है ...कानों में से धुआं निकलने लगता है

टीन ऐज से अब तक हुए दो अफेयरस की बखिया उधेड़ दी .. अफेयर  क्या थे इंफैचुएशन था  , जैसा अक्सर उस उम्र  में हो जाता है , मैं झूठ नहीं बोल पाती हर बात अपनी मम्मी को बता देती हूँ , पर इसका मतलब ये नहीं कि वो इसके लिए मेरी इंसल्ट करें ! अब बोल रही हैं  .. राहुल से इंगेजमेंट में बहुत खर्च हुआ अब हम कोई बात नहीं करेंगे तुम्ही हैंडल करो .. !

मेरा सर फट रहा है ...मैं भी जब गुस्से में होती हूँ खूब चीखती  हूँ !

अभी तो कल भैया भाभी और पापा सब आ रहे हैं , पता नहीं कितना सुनना होगा मुझे ... और जिसकी वजह से ये सब हो रहा है ...उसे तो बता ही देना चाहिए अब !

24-अप्रैल  
10:30pm

उसको कल रात सब बातें लिख कर मेल कर दीं थी , सब कुछ ! पर अभी तक उसका कोई जवाब नहीं आया न कोई फ़ोन , पता नहीं क्या सोच रहा होगा ! शायद उसके मन में कुछ हो ही न ! आज चावला सर से मीटिंग थी  पर मन नहीं लगा उन्होंने दो तीन बार पूछा भी चेहरा इतना पीला क्यों है ? बार बार तो मोबाइल पर नज़र जाती , कही वो फ़ोन कर रहा हो और मैं साइलेंट की वजह से देख न पाऊँ !

भाड़ में जाए ! अब मैं पलट के उसे फ़ोन नहीं करुँगी.. मैं क्यों शर्मिंदा हो रही हूँ ..जो दिल ने महसूस किया बोल दिया ... राहुल को मैंने मना कर दिया है , वो मुझे मना रहा है सोचा रहा है शायद मैं नाराज हूँ..पर कैसे समझाऊँ ... गलती पूछ रहा  है...  क्या बोलूं ..?

गलती तो किस्मत की है जिसने कुछ और तय किया.. ! मुझे राहुल के लिए बहुत दुःख हो रहा है... मैं उसका दिल नहीं तोडना चाहती पर मेरा दिल भी तो टूट जायेगा उस से जुड़ कर !

राहुल बार बार फ़ोन मैसेज कर रहा है और वो जिसका मुझे इंतज़ार है एक बार भी रेस्पॉन्ड नहीं किया मेरे मेल के बाद से !

शाम को भैया पापा मम्मी सब ने खूब सुनाया ! बस भाभी ने मेरा पक्ष लिया , घर में तनाव पसर गया है आज मैं एक बार भी नहीं चीखी ..कोई जवाब नहीं दिया..बस सुनती रही ! शादी नहीं करनी बस इसी बात पर अड़ी रही ...आखिर में तय हुआ कि कल भैया और पापा राहुल के घर जायेंगे बात करने...मम्मी कह रही थी इस लड़की ने हमारी नाक कटा दी ।

शब्द ही नहीं मेरे पास अपनी तकलीफ और बैचैनी को लिख पाने के लिए , मन कर रहा है सब छोड़ छाड़ के भाग जाऊँ , जहाँ घर वालों के ताने न हों, राहुल के इल्जाम न हों ! बस सुकून हो ... मानती हूँ मैंने सब खत्म कर दिया पर किसी  की जान तो नहीं ली ..जान बाकी है तो फिर सब बन सकता है ! राहुल की ज़िन्दगी में भी और मेरी में भी !

25-अप्रैल  

आज भी कोई  खबर नहीं उसकी !

26-अप्रैल
2:00pm

आज चावला जी की तरफ से तीस हज़ार का चेक आ गया , पर मन खुश नहीं ...वो नहीं आया ! वैसे भी उसकी ट्रेनिंग खत्म होने में वक़्त है पर वो जवाब तो दे सकता था हाँ या न ! शायद मेरा मन थोड़ा आराम पा जाता !

घर वाले चले गए हैं, सब मुझ से बहुत नाराज हैं ! पापा और भैया ने मामला निपटा दिया ..जब लड़की नहीं चाहती तो क्या करें ..अगर शादी के बाद ऐसा करती तो ज्यादा मुश्किल हो जाती... राहुल अभी भी मुझे बार बार फ़ोन कर रहा है ...वो बहुत दुखी है और गुस्से में भी ...पर मैं क्या करूँ...मैं अपराधी हूँ  !

27 -अप्रैल
10:45 pm

आखिर मैंने ही विक्रम को फ़ोन कर लिया , अगर नहीं करती तो शायद घुटन से मर जाती ...सुसाइड के ख्याल आनेलागे थे ...

उसने बोला वो आकर बात करेगा...मैंने बता दिया कि मैंने राहुल से शादी तोड़ दी है ..सिर्फ उसके लिए !

बस आखिरी बार बार करनी थी ! पता नहीं क्यों मुझे उसका रवैया बहुत ठंडा लगा, पर अब जो होना था हो गया !

बाहर बहुत ज़ोर का तूफ़ान आ रहा है , भयंकर बारिश..तीखी हवा
ठीक ऐसा ही मेरे अंदर भी आ रहा है  !

15-मई
8am

आज विक्रम का  जन्मदिन है ...मैंने कुछ स्पेशल प्लान किया है...हम साथ हैं ...वो भी मुझे उतना ही चाहता है जितना मैं !

28  अप्रैल को उसने मुझे पहली बार " आई लव यू " बोला ! मुझे ऐसा लगता है कि हम पिछले जन्म के साथी थे जो किसी श्राप की वजह से बिछड़ गए थे .. हा हा ..ज़्यादा फ़िल्मी लगता है  पर है तो सच  !

हम सोल मेट्स हैं !

अब लिखने को कुछ बचा ही नहीं .....मैं उसे जीना चाहती हूँ !


संपर्क:
50 /26, प्रताप नगर, सांगानेर
जयपुर
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