...और होली ईद आपस में अभिन्न सहेलियाँ हैं। — नीरज की कविताएँ पाकिस्तान के नाम —गोपालदास नीरज जा चुका पतझार, ऋतुपति आ गया दि…
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आगे पढ़ें »हद्द बेशरम हो तुम, जब बच्चे छोटे थे तो कभी गोदी में बिठाया तुमने? आज बड़े आये ह…
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