जावेद अख़्तर और मैं ~ असग़र वजाहत की यादें


जावेद अख़्तर और मैं 

~ असग़र वजाहत की यादें


कुछ साल पहले की बात है जावेद अख़्तर और मैं पटना एयरपोर्ट पर बैठे फ्लाईट का इंतज़ार कर रहे थे। हम पटना पुस्तक मेले के सिलसिले में गये हुए थे। जावेद अख़्तर को मैं ऐसा कवि और मीडियाकर्मी समझता हूँ जो अपनी परिभाषाएं बनाते हैं और अपना अलग विश्लेषण करते हैं।

famous hindi song hindi movie writer of salman khan katrina kaif



पटना एयरपोर्ट पर कुछ और लोग भी थे। पता नहीं कैसे बातों का सिलसिला अहिंसा की ओर मुड़ गया और एक सज्जन ने कहा कि भारत तो सदा से ही अहिंसा का समर्थक रहा है। हमारे समाज में महात्मा बुद्ध से लेकर महात्मा गाँधी तक ने अहिंसा पर बल दिया है। हमारे धर्म भी अहिंसा को बहुत बड़ा मूल्य मानते हैं।’ 

जावेद अख़्तर ने इस बात के जवाब में एक बहुत महत्त्वपूर्ण और सोचने वाला कमेंट किया। उन्होंने कहा - ‘देखिये, जहाँ बारिश ज्यादा होती है वही छाते बिकते हैं। हमारा समाज बड़ा हिंसक समाज रहा है। इसीलिए महात्मा बुद्ध से लेकर गाँधी जी तक ने अहिंसा की बात की है। अगर हमारा समाज अहिंसक होता तो अहिंसा की बात करने की ज़रूरत ही नहीं पड़ती।’ 

इन दिनों महिलाओं, दलितों और अल्पसंख्यकों के प्रति जो समाज में हिंसा हो गयी है उसे इसी रूप में देखने की आवश्यकता है। इसमें कोई संदेह नहीं और न कोई छिपाने की बात है कि आज भी उत्तर भारत का समाज एक हिंसक समाज है। इसके शायद इतिहासिक कारण हैं जिनका विश्लेषण किया जाना चाहिए। इतिहासिक तथ्य यह बताते हैं कि उत्तर भारत में अपना प्रभुत्व जमाने के लिए प्रत्येक विजेता बड़े स्तर पर हिंसक कार्रवाइयाँ करता था। उसके बाद ही जनसमुदाय उसकी सत्ता को स्वीकार करता था। उदाहरण के लिए 1803 में ‘लॉर्ड लेख’ ने जब दिल्ली पर अधिकार किया तो उसकी सेना ने कई महीने दिल्ली के चारों ओर भयानक लूट-पाट मचायी थी, हिंसा की थी और उसके बाद आखिर कार उसकी सत्ता को स्वीकार किया गया था। 

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ

ये पढ़ी हैं आपने?

काली-पीली सरसों | ज्योति श्रीवास्तव की हिंदी कहानी | Shabdankan
बारहमासा | लोक जीवन और ऋतु गीतों की कविताएं – डॉ. सोनी पाण्डेय
चित्तकोबरा क्या है? पढ़िए मृदुला गर्ग के उपन्यास का अंश - कुछ क्षण अँधेरा और पल सकता है | Chitkobra Upanyas - Mridula Garg
मैत्रेयी पुष्पा की कहानियाँ — 'पगला गई है भागवती!...'
Harvard, Columbia, Yale, Stanford, Tufts and other US university student & alumni STATEMENT ON POLICE BRUTALITY ON UNIVERSITY CAMPUSES
Hindi Story आय विल कॉल यू! — मोबाइल फोन, सेक्स और रूपा सिंह की हिंदी कहानी
 प्रेमचंद के फटे जूते — हरिशंकर परसाई Premchand ke phate joote hindi premchand ki kahani
तू तौ वहां रह्यौ ऐ, कहानी सुनाय सकै जामिआ की — अशोक चक्रधर | #जामिया
ईदगाह: मुंशी प्रेमचंद की अमर कहानी | Idgah by Munshi Premchand for Eid 2025
मन्नू भंडारी की कहानी — 'रानी माँ का चबूतरा' | Manu Bhandari Short Story in Hindi - 'Rani Maa ka Chabutra'