धीरे-धीरे रट्टू तोते की तरह मैं अंग्रेजी टेक्स्ट बुक के लैसन रटती रही। पर इतना आसान भी नहीं था सुसरी अंग्रेजी की रीढ़ तोड़ना। यह व्यवस्था की रीढ…
गोमा हँसती है - मैत्रेयी पुष्पा (हंस, अगस्त 1995 में प्रकाशित लम्बी कहानी ) कातिक के महीने में भी इस दगरे में सूखी रेत! साइकिल…