व्यस्त ज़िंदगी के इतवार की सुबह यदि, मृदुला गर्ग अपनी सिग्नचर स्टाइल में मगहर से जुड़ा संस्मरण लिखकर भेज दें तो, आराम को छोड़कर उसे आप तक पहुंचना मेरी …
नए, उभरते लेखकों को पढ़ने का अपना एक अलग मज़ा है। केतन यादव युवा लेखक हैं और अनामिकाजी व गीताश्री के साथ अपनी मगहर यात्रा के संस्मरण को कुछ रोमांचक ढं…
रीता दास राम के लेखन का प्रवाह अच्छी गति और भाषा के साथ बढ़ रहा है। कहानीकार को बधाई और रचना हमें भेजने का आभार, पढ़िए उनकी नई कहानी 'चैक एण्ड मेट…
मुझे हमेशा लगता रहा है कि हम जितना दूसरों के अनुभवों को समझकर जानकार बनते हैं, उतनी आसानी से और किसी तरह नहीं। खुश हूँ कि गीताश्री ने अपनी यादों को …
बहुत अच्छी कहानी है खिड़की! विजयश्री तनवीर की भाषा और तकनीकी उम्दा हैं। ~ सं०
रवींद्र कालिया संपादित ‘नया ज्ञानोदय’ का प्रेम महाविशेषांक (नवंबर, 2009) के पुनर्प्रकाशन (जिसमें पहले ममता कालिया की कहानी निर्मोही आ चुकी है) में …
साहित्यकार गीताश्री ने बिहार की पाँच कवयित्रियों - उपासना झा, नताशा, निवेदिता, सौम्या सुमन और पूनम सिंह की कविता पर यह आलेख लिखकर बहुत ज़रूरी काम किय…
पंखुरी सिन्हा कवि तो अच्छी हैं ही एक अच्छी कहानीकार भी बन गई हैं। पढ़िए 'बिफिया उर्फ़ लव जिहाद का ग्रह वृहस्पत' मधुर आंचलिक भाषा और सुंदर दृश्…
वरिष्ठ साहित्यकार मृदुला गर्ग ने यहाँ जो अनुभव साझा किया है वह सच में हौलनाक है। नुसरत ग्वालियारी का शेर याद आया - "रात के लम्हात ख़ून…